Wikipedia

खोज नतीजे

सृष्टि लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं
सृष्टि लेबलों वाले संदेश दिखाए जा रहे हैं. सभी संदेश दिखाएं

सृष्टि, तुम्हारी हथेली में

 ब्रह्मा का वास है

तुम्हारी कलाई में

मुट्ठी में शिव

और उँगलियों में चतुरानन

चारों दिशाओं में घूमती कलाई

बस एक भी शब्द पर

ठहर भर जाए

तोड़ देते हो

अपने ही सारे आयाम

सृजन के.

प्रिय है कलाई ही इतनी

कि मुट्ठी और उँगलियाँ

वंचित हैं स्नेह से अब तक.

मेरी पहली पुस्तक

http://www.bookbazooka.com/book-store/badalte-rishto-ka-samikaran-by-roli-abhilasha.php